बैंक पेंशनर्स का इलाहाबाद बैंक हजरतगंज परिसर में विशाल प्रदर्शन- 38 साल से विलंबित पेंशन वृद्धि की मांग
पेंशन वृद्धि के लिए बैंक के रिटायर्ड अधिकारी जंतर मंतर पर प्रदर्शन करेंगे- एससी जैन
मृत्युंजय प्रताप सिंह पत्रकार
आज इलाहाबाद बैंक (अब इंडियन बैंक) हजरतगंज के परिसर में सायंकाल 5 बजे से बैंक पेंशनर्स का एक विशाल प्रदर्शन यूनाइटेड फोरम ऑफ बैंक रिटायरीज़ ओर्गनाइज़ेशन (UFBRO) के तत्वाधान में आयोजित हुआ जिसमें हजारों पेंशनर्स ने भाग लिया और जोरदार नारेबाजी की।
पेंशनर्स को संबोधित् करते हुए एआईबीआरएफ़ के महामंत्री श्री एससी जैन ने कहा कि बैंक के पेंशनर्स की वर्ष 1987 से पेंशन में कोई वृद्धि नहीं हुई है जबकि सरकारी कर्मचारियों की पेंशन हर पे कमिशन में बढ़ जाती है। सरकारी कर्मचारियों की पेंशन वृद्धि के लिए सरकार को बजट में प्रविधान करना पड़ता है जबकि बैंक पेंशनर्स के पेंशन फंड में 3 लाख करोड़ से भी ज्यादा धन राशि जमा है जिससे आसानी से पेंशन वृद्धि की जा सकती है परंतु आईबीए और डीएफ़एस की हठधर्मी के चलते आज बैंक के पुराने महाप्रबंधक एक चपरासी से भी कम पेंशन पाने को बाध्य हैं। बैंक कर्मचारियों ने रेकॉर्ड तोड़ मुनाफा कमाया है एवं करोडों जनधन खाते खोल कर प्रधान मंत्री की प्रशंसा हासिल की है। वित्त मंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमन भी “वन रैंक वन पेंशन” के आधार पर बैंक पेंशनर्स की पेंशन बढ़ाने के निर्देश दे चुकी हैं। बैंक पेंशनर्स अब तक 135 सांसदों, 10 केंद्रीय मंत्रियों जिनमें श्री राजनाथ सिंह, नितिन गडकरी आदि सम्मिलित हैं से मिल कर मेमोरंडम दे चुके हैं, कई बार संसद में प्रश्न किए जा चुके हैं। अब हार कर 80- 85 साल के बैंक पेंशनर्स को भी सड़क पर उतरना पड़ेगा। इसके लिए दिल्ली में 27 सितंबर को जंतर मंतर पर बैंक पेंशनर्स का जमावड़ा होगा जो अपनी पेंशन वृद्धि के लिए गुहार लगाएंगे।
श्री एससी जैन ने अफसोस व्यक्त कराते हुए कहा कि 13 निजी बैंकों के 30,000 सदस्यों को इन बैंकों का प्रबंधन एक्स-ग्रेशिया का भुगतान नहीं कर रहा जबकि सभी सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों में यह भुगतान हो रहा है। उन्होने मांग की कि इनको भी यह भुगतान किया जाए। इसी के साथ श्री जैन ने कहा कि हमारे तीन लाख सदस्य होने के बावजूद भी हमसे आईबीए और डीएफएस सीधे बात नहीं करता। हमारी मांग है कि रिटायरीज़ की मांगों पर हमसे सीधे बात कर उनका निराकरण किया जाए।
प्रदर्शनकारियों को संबोधित करते हुए श्री मित्र वाशु, संयुक्त महामंत्री, एआईबीआरएफ़ ने कहा कि न केवल बैंक पेंशनर्स की पेंशन नहीं बढ़ाई गई है अपितु कोढ़ में खाज की तरह बैंकों ने पेंशन को 50% से घटा कर 38% कर दिया है जिसके लिए उन्होने वेतन पुनरीक्षण करते समय नवम्बर 2012 से एक स्पेशल अलाउंस इंट्रोड्यूस कर दिया है जिस पर पेंशन देय नहीं है जिसकी वजह से नवम्बर 2022 से रिटायर हुए अधिकारियों की पेंशन मात्र 38% रह गयी है जबकि सर्वोच्च न्यायालय ने अपने एक निर्णय में साफ साफ कहा है कि दो तरह के वेतन नहीं हो सकते, एक घर ले जाने के लिए और दूसरा पेंशन के लिए।
प्रदर्शन को BDJS के श्री राजेंद्र मुंजाल ने भी संबोधित किया। इसके अतिरिक्त यूएफबीयू के प्रांतीय संयोजक साथी वाईके अरोड़ा, एआईटीयूसी यूपी के अध्यक्ष श्री वीके सिंह, यूपीबीईयू के अध्यक्ष श्री एसके संगतानी, यूपीबीईयू लखनऊ इकाई के अध्यक्ष श्री शकील अहमद ने संबोधित करते हुए अपने-अपने संगठनों की ओर से बैंक पेंशनर्स की जायज़ मांगों के लिए पूर्ण समर्थन प्रदान करते हुए उनकी लंड़ाई में शामिल होने की घोषणा की।
इस प्रदर्शन में मुख्य रूप से श्री आरएम टंडन, राम नाथ महरोत्रा, बीएन दीक्षित, अशोक महरोत्रा, अनूप शरण सिंह, विनय श्रीवास्तव, बीसी बाजपेयी, एके कालरा, एके मिश्रा, एसआर मिश्रा, एचके अग्रवाल, एके सिंह, एमसी गुप्ता, केएन सिंह, तारिक कलीम, रजित राम, एमडी मीना, विनोद माथुर, एके बाजपेयी, आरके धवन, अनिल श्रीवास्तव, सुधीर कुमार, प्रमोद श्रीवास्तव, जयशंकर प्रसाद आदि उपस्थित रहे।
इससे पहले आज प्रातः होटल स्योना रेसिडेंसी चारबाग, लखनऊ में एआईबीआरएफ़ यूपी का पाँचवाँ प्रांतीय सम्मेलन सम्पन्न हुआ जिसका उदघाटन श्री एससी जैन महामंत्री ने किया एवं श्री मित्र वाशु, संयुक्त महामंत्री ने संबोधित किया। इस सम्मेलन में श्री आरके अग्रवाल, पुनः अध्यक्ष एवं श्री आरएम टंडन पुनः महामंत्री निर्वाचित हुए। इसके साथ ही अन्य पदाधिकारियों का भी सर्व सम्मति से चुनाव सम्पन्न हुआ।