सर्वाइकल कैंसर भारत में महिलाओं में कैंसर जैसी गंभीर बीमारी का एक मुख्य कारण है, लेकिन इससे बचाव के लिए वैक्सीन उपलब्ध है और समय से पता चले तो इसका इलाज संभव है।
मृत्युंजय प्रताप सिंह संवाददाता
लखनऊ, 27 जनवरी 2024: सर्वाइकल कैंसर गर्भाशय के मुख का कैंसर है और इसका मुख्य कारण एचपीवी वायरस है, जो कि यौन संचारित संक्रमण है। सर्वाइकल कैंसर धीमे धीमे कई वर्षों में विकसित होता है अतः पेप स्मीयर नामक स्क्रीनिंग टेस्ट से और नियमित स्त्री रोग संबंधित जांच से अधिकांश मामलों में शुरुआती दौर में ही इसका पता लगाया जा सकता है।
यदि आप का पैप स्मीयर टेस्ट असामान्य आता है तो आगे का परीक्षण आवश्यक है। इसमें एचपीवी परीक्षण या बायोप्सी भी करानी पड़ सकती है।
सर्वाइकल कैंसर का खतरा किसे है?
जो लोग नियमित अंतराल पर पैप परीक्षण नहीं कराते हैं ।
•एचपीवी संक्रमण
•18 साल की उम्र से पहले यौन संबंध बनाने और कई यौन साथी रखने से।
•धुम्रपान
•एचआईवी संक्रमण
सर्वाइकल कैंसर कैसे रोका जा सकता है
•एचपीवी टीका लगवाएं
•धुम्रपान और तम्बाकू का सेवन मत करें
•सुरक्षित यौन संबंध बनाएं
डॉ नीलम विनय, डायरेक्टर प्रसूति और स्त्री रोग, मेदांता अस्पताल लखनऊ के निर्देशन में एचपीवी वैक्सीनेशन, सर्वाइकल कैंसर स्क्रीनिंग व इलाज की सुविधाएँ उपलब्ध हैं। कैंसर पाए जाने पर अस्पताल में सर्जरी, कीमोथेरेपी, रेडियोथेरेपी और इम्यूनोथेरेपी की सुविधाएँ भी उपलब्ध हैं।
सर्वाइकल कैंसर की स्क्रीनिंग , इलाज और इसके वैक्सीनेशन हेतु डॉ नीलम विनय पिछले कई वर्षो से महिलाओं को जागरूक करने का सतत प्रयास कर रही हैं। इसकी जागरूकता से बहुत सी महिलाओं को गंभीर बीमारियों से बचाया जा सकता है।